शीतकाल में पूरे क्षेत्र में सन्नाटा पसरा रहा। बीते वर्ष दिसंबर और इस वर्ष जनवरी में एक-दो बार हल्की बर्फबारी हुई थी, जो धूप निकलते ही पिघल गई थी, लेकिन अब जमकर बर्फबारी हुई है, जिससे पूरे क्षेत्र में रौनक लौट आई है। जिससे कारोबार को भी गति मिलने लगी है। हमें 11 फरवरी तक की बुकिंग मिल चुकी है। -मुकुल मैठाणी, संचालक, फ्यूंली कैंप बनियाकुंड
शीतकाल में बर्फबारी नहीं होने से कारोबार चौपट हो गया था, लेकिन अब बर्फबारी होने के बाद यहां सैलानी पहुंचने लगे हैं। आने वाले दिनों में भी बर्फ होती है, तो कारोबार को भी गति मिलेगी।
-आनंद नेगी, व्यापारी
तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट बंद होते ही कारोबार भी थम सा गया था। मौसम की मार से बची उम्मीदें खत्म हो गईं थी, लेकिन अब क्षेत्र में अच्छी बर्फबारी हुई है, जिससे यहां पर्यटक भी पहुंचने लगे हैं। प्रकृति के उपहार से अब स्थानीय व्यापारियों को भी लाभ मिलेगा।